January 21, 2025

स्वामी सत्यमित्रानंद गिरी की साक्षात प्रतिमा का अनावरण, जूना पीठाधीश्वर अवधेशानंद गिरि जी व सीएम हुए शामिल

स्वामी जी के साक्षात प्रतिमा के समक्ष सीएम शिवराज व पूज्य स्वामी अवधेशानंद गिरी महाराज।

उज्जैन। समन्वय परिवार उज्जैन द्वारा आयोजित ब्रह्मलीन स्वामी पूज्य सत्यमित्रानंद गिरी महाराज के प्रतिमा अनावरण कार्यक्रम शामिल होने के लिए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान सोमवार सुबह उज्जैन पहुंचे। मुख्यमंत्री ने जूना पीठाधीश्वर पूज्य स्वामी अवधेशानंद गिरी महाराज के साथ नृसिंह घाट पर स्वामी जी की प्रतिमा का अनावरण व सेवा सदन समन्वय निलयम् का लोकार्पण किया।

इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी अवधेशानंदजी, श्री अयोध्या राम जन्म भूमि ट्रस्ट के कोषाध्यक्ष गोविंद देव गिरी, संत स्वामी चिन्मयानंद चिन्मयानंद बापू सहित सभी उपस्थित संतों को नमन कर आशीर्वाद लिया। समन्वय परिवार के अध्यक्ष व छत्रसाल यूनिवर्सिटी के कुलपति प्रोफेसर टीआर थापक एवं वरिष्ठ उपाध्यक्ष सुरेश मोढ़ के अनुसार पूज्य स्वामी जी नहीं शिप्रा के किनारे सेवा सदन संचालित करने की इच्छा जताई थी। उसी भावना के अनुरूप भक्तों ने इस धाम का निर्माण किया है। स्वामी सत्यमित्रानंद गिरि का उज्जैन से बहुत जुड़ाव रहा।

नृसिंह घाट के समीप तल मंजिल का निर्माण व गुरुदेव कुटीर का निर्माण किया है। अनावरण के उपरांत सभी अतिथि होटल अथर्व में आयोजित आशीर्वचन कार्यक्रम पहुंचे जहां जूना पीठाधीश्वर अवधेशानंद गिरी महाराज के आशीर्वचन हुए। इस समारोह के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान कॉरिडोर का अवलोकन किया।

हरसिद्धि से महाकाल मार्ग स्वामी जी के नाम

इस दौरान मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने घोषणा की कि शक्तिपीठ हरसिद्धि मंदिर से श्री महाकालेश्वर तक के मार्ग को अब पूज्य स्वामी सत्यमित्रानंद गिरी जी महाराज के नाम से जाना जाएगा। जल्दी इसकी प्रक्रिया पूरी कराई जा कर नामकरण किया जाए।

हेलीपेड पर प्रवेश को लेकर विवाद

मुख्यमंत्री चौहान का उज्जैन आगमन पर उच्चशिक्षा मंत्री मोहन यादव, महापौर मुकेश टटवाल, विधायक पारस जैन, नगर निगम अध्यक्ष कलावति यादव, छत्रसाल विवि के कुलपति और समन्वय परिवार के टीआर थापक के साथ जनप्रतिनिधियों, अधिकारियों ने स्वागत किया।

हेलीपेड पर प्रवेश के लिए भाजपा संगठन की ओर से प्रशासन को नाम दिए गए थे। पुलिस इसी आधार पर प्रवेश दे रही थी। इसी के चलते कई भाजपा नेताओं को रोक दिया गया। इसके चलते बहस और विवाद हुआ। भाजपा के वरिष्ठ नेताओं-अधिकारियों ने मामला शांत किया।